Wednesday, July 4, 2012

मै इनकी जाति नहीं जानती न ही धर्म शायद बंजारा या सड़क पर रहने वाली वो जो लकडियो की चीजे बनाती और बेचती है उसी हिस्से से ये है .. जब यह ट्रेन में चडी तो एक आदमी इन्हें छोड़ने आया था इन्होने उसे १०० रुपये का नोट थमाते हुए कहा सभाल कर रहना और अपना ध्यान रखना और किसी बात कि चिंता मत करना इतना कहकर बड़े प्यार से उस आदमी ko विदा किया बाद में जब मैने पूछा यह कौन थे तो उन्हों ने बताया कि ये उनके बच्चो के पिता है ... और मुस्कुरा दी 

उसके बाद इस महिला ने अपने झोले से रोटी निकाली, शायद यह रोटी सुबह की या सायद एक दिन पहले की बनी थी जो हम और आप खाने से भी कतराते .. बच्चो को खिलाने लगी जब बच्चे रोटी खाने लगे तो पास में बैठ कर महिला अपनी पोटली निकालती है जिसमे सुपारी, पान ,जर्दा था निकाल कर अलग अलग चीजो को अपने हिसाब से मुह में डालती है और पान चबर -चबर करके चबाने लगती है ...
भीड़ से भरी ट्रेन में अगर गलती से भी कोई उसके लेटे बच्चो को उठा या खिसकने भर की बात कह देता तो यह महिला उसपर शेरनी की तरह भड़क जाती मानो उसे खा जाने के लिया टूट पड़ेगी.! महिला चार स्टेशन बाद उतर गई 
पर सच मानो में महिला की एक बात अच्छी लगी 
क्या ?..
आप सोच रहे होगे 
अपने पति ,परिवार और बच्च के प्रति इसका लगाव 
अपने में मस्त रहने वाला इसका सुभाव 
आभाव और गरीबी को अपने अन्दर हावी न होने देना 
सच पूछो तो यह महिला मुझे बहादुर लगी 
क्यों कि " कम से कम इस महिला में महिला होने की हीन भावना नहीं थी " जो मैने अच्छे अच्छे पड़ी लिखी काम काजी महिलओ देखा है 
" यह महिला महिला होने की हीन भावना से ग्रसित नहीं थी "

उसके बाद इस महिला ने अपने झोले से रोटी निकाली, शायद यह रोटी सुबह की या सायद एक दिन पहले की बनी थी जो हम और आप खाने से भी कतराते .. बच्चो को खिलाने लगी जब बच्चे रोटी खाने लगे तो पास में बैठ कर महिला अपनी पोटली निकालती है जिसमे सुपारी, पान ,जर्दा था निकाल कर अलग अलग चीजो को अपने हिसाब से मुह में डालती है और पान चबर -चबर करके चबाने लगती है ...

भीड़ से भरी ट्रेन में अगर गलती से भी कोई उसके लेटे बच्चो को उठा या खिसकने भर की बात कह देता तो यह महिला उसपर शेरनी की तरह भड़क जाती मानो उसे खा जाने के लिया टूट पड़ेगी.! महिला चार स्टेशन बाद उतर गई 
पर सच मानो में महिला की एक बात अच्छी लगी 

क्या ?..
आप सोच रहे होगे 

अपने पति ,परिवार और बच्च के प्रति इसका लगाव अपने में मस्त रहने वाला इसका सुभाव आभाव और गरीबी को अपने अन्दर हावी न होने देना सच पूछो तो यह महिला मुझे बहादुर लगी क्यों कि " कम से कम इस महिला में महिला होने की हीन भावना नहीं थी " जो मैने अच्छे अच्छे पड़ी लिखी काम काजी महिलओ देखा है " यह महिला महिला होने की हीन भावना से ग्रसित नहीं थी "

 —

1 comment:

idinajaelee said...

The 7 best casino games to play on the Go
The 7 best casino games to play on the 군산 출장마사지 Go · 익산 출장안마 1. Golden Osiris (4) · 2. Pirate Gold (10) 수원 출장마사지 · 3. Jackpot 6000 (10) · 4. Divine Fortune (10) · 5. Golden Axe (10) 파주 출장안마 · 6. 군포 출장샵